Tuesday, December 22, 2015

from ashwinnagar

salutations Blog



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ashwinnagar

Saturday, December 19, 2015

वजह

वजह पूछने का तो मौका ही न मिला,
बस वो लहजा बदलते गए और हम अजनबी होते गए...

Wednesday, December 16, 2015

समंदर

हम समंदर हैं हमें खामोश रहने दो,
ज़रा मचल गये तो शहर ले डूबेंगे..

Saturday, December 12, 2015

Sorry

Sorry is not enough. Sometimes, you actually  have to change.

Opinion

Everything we hear is an opinion,  not a fact. Everything we see is a perspective, not the truth.
-Marcus Aurelius

Monday, November 30, 2015

जख्म

मेरी जख्मों पर उसने भी मरहम लगाया, ये कहकर....
जल्दी से ठीक हो जा,और भी जख्म देना बाकि है...

Wednesday, November 18, 2015

मुहब्बत

मुहब्बत रूह में उतरा हुआ मौसम है जनाब..
ताल्लुक कम कर देने से कम नही
होती..

झुकना

तुम झुकना सीखो हमेशा आँसमां बन के

ये जान लो कि

ज़मीन को उठने की आदत नही होती..

लफ्ज़

लफ्ज़ जब बरसते हैं बन कर बूँदें,
मौसम कोई भी हो मन भीग ही जाता है....

अदालत ईश्क

अदालत ईश्क की होगी, मुकदमा मोहब्बत पे चलेगा, गवाही मेरा दिल देगा और मुजरिम तेरा प्यार होगा..!!

मुहब्बत

मुहब्बत रूह में उतरा हुआ मौसम है जनाब..
ताल्लुक कम कर देने से कम नही
होती..

Monday, November 9, 2015

जिंदगी...

हल्की-फुल्की सी है जिंदगी...

बोझ तो ख्वाहिशों का है..!!

पत्थर

इस अजनबी शहर में
पत्थर कहाँ से आ लगा
गैरों की भीड़ में
कोई अपना जरूर है..

Friday, October 30, 2015

दीदार

तेरे दीदार से होती है मेरी सुबह शुरु....
बहुत तकलीफ देता है तेरा यूँ देर तक सोना....

Sacrifices

Untold sacrifices are never valued and told sacrifices are  never believed..

Wednesday, October 28, 2015

हम सा बेजुबां

तुम अपने ज़ुल्म की इन्तेहाँ कर दो......

फिर कोई हम सा बेजुबां मिले ना मिले…..

Friday, October 16, 2015

गुमनाम

कभी ये आरजू थी कि हर कोई जाने मुझे!!!

आज ये तलब है कि गुमनाम ही रहूं मैँ !!!!

हमसा तुमसा

हमें होई तुमसा मिल जाये,

नामुमकिन सही लेकिन

तुम्हे भी कोई हमसा मिल जाये

बड़ा मुश्किल सा लगता है..

अख़बार नहीं

तेरे ही किस्से तेरी ही कहानियाँ मिलेंगी मुझमें,
मैं कोई अख़बार नहीं जो रोज़ बदल जाऊं...

इस दौर के रिश्ते

कुछ ऐसे हो गए हैं, इस दौर के रिश्ते,
जो आवाज़ तुम न दो,
तो बोलते वो भी नही....!

Wednesday, October 14, 2015

तासीर

तासीर इतनी ही काफी है कि तू मेरा दोस्त है..!!
क्या ख़ास है तुझमे, ऐसा मैंने कभी सोचा ही नही....!!

आखों मे धूल

किसी ने धूल क्या झोकी आखों मे ...
कम्बख़्त पहले से बेहतर दिखने लगा ।

Tuesday, October 13, 2015

आइने की तरह

आख़िर तुम भी उस आइने की तरह ही निकले,
जो भी सामने आया तुम उसी के हो गए..

Monday, October 12, 2015

बेवजह है

बेवजह है, तभी मोहब्बत है,

वजह होती, तो साजिश होती।

Sunday, October 4, 2015

"हुनर"

"हुनर" सड़कों पर तमाशा करता है .
और "किस्मत" महलों में राज करती है!

आराम

सुबह सुबह उठना पड़ता है कमाने के लिए,

आराम कमाने निकलता हूँ आराम छोड़कर।

वक़्त

वक़्त ने कहा.....काश थोड़ा और सब्र होता!!!
सब्र ने कहा....काश थोड़ा और वक़्त होता!!!

दो मसले

बस यही दो मसले, जिंदगीभर ना हल हुए!!!
ना नींद पूरी हुई, ना ख्वाब मुकम्मल हुए!!!

Friday, September 25, 2015

While pain is inevitable not the suffering

While pain might be inevitable, the suffering that comes from the pain is not. Suffering is not a state of life, it is a state of mind. Suffering is your response to an event. Whether you suffer or not depends entirely on your reaction to that situation.

सज़ा

उससे कह दो कि मेरी सज़ा कुछ कम कर दे,

हम पेशे से मुज़रिम नहीं हैं बस गलती से इश्क हुआ था

पहला प्यार

मैं गलत था शायद. आखिर था भी पहला प्यार,

वो सही ही होगी. उसे पहले भी हुआ था कई बार.

झगड़ा ख़्वाहिशों का

ज़िन्दगी में सारा झगड़ा ही ख़्वाहिशों का है.....!
ना तो किसी को गम चाहिए और ना ही किसी को कम चाहिए...!

Thursday, September 24, 2015

रो देते.

इस जवानी से अच्छा तो बचपन था जब दर्द होता वहीं रो देते...!!!
आजकल तो रोने के लिए जगह ढूंढनी पड़ती है

Wednesday, September 23, 2015

निगाहो में डूब कर..

सौ बार मरना चाहा मैंने निगाहो में उसकी डूब कर,
मगर
वो निगाहें झुका लेते हैं पर मुझे मरने नहीं देते.

Tuesday, September 22, 2015

Beautiful definition of TRUST:

"Giving someone the authority to destroy U completely,
But
Having the confidence that he would never do it....".

Sunday, September 20, 2015

बच्चा हो जाऊँ

मेरी ख़्वाहिश है कि मैं फिर से फ़रिश्ता हो जाऊँ
माँ से इस तरह लिपट जाऊँ कि बच्चा हो जाऊँ

रौशनी देती हुई सब लालटेनें बुझ गईं
ख़त नहीं आया जो बेटों का तो माएँ बुझ गईं

कई बातें मुहब्बत सबको बुनियादी बताती है
जो परदादी बताती थी वही दादी बताती है

किसी को घर मिला हिस्से में या कोई दुकाँ आई
मैं घर में सब से छोटा था मेरे हिस्से में माँ आई

ऐ अँधेरे! देख ले मुँह तेरा काला हो गया
माँ ने आँखें खोल दीं घर में उजाला हो गया

इस तरह मेरे गुनाहों को वो धो देती है
माँ बहुत ग़ुस्से में होती है तो रो देती है

मेरी ख़्वाहिश है कि मैं फिर से फ़रिश्ता हो जाऊँ
माँ से इस तरह लिपट जाऊँ कि बच्चा हो जाऊँ

Sunday, September 13, 2015

तेरे अपने ही बहुत हैं

यह कह कर मेरा दुश्मन मुझे हँसते हुए छोड़ गया;

कि तेरे अपने ही बहुत हैं तुझे रुलाने के लिए..

Thursday, September 10, 2015

Discussion

Discussion is an Exchange of Thoughts & Knowledge, Promote It.
Argument is an Exchange of Ego & Ignorance, Avoid It

गुजर जाऊँगा

गुजर जाऊँगा यूँ ही किसी लम्हे सा...!!!
और तुम वक़्त में उलझी रहना...!!!

Sunday, September 6, 2015

रिश्ता

तलाश कर मेरी कमी को अपने दिल में,

दर्द हो तो समझ लेना कि रिश्ता अभी बाकी है

Saturday, September 5, 2015

रिश्ता..

अच्छा हुआ के उसने ही तोडा रिश्ता,
मेरे अंदर तो ऐसा होंसला नहीं था…

खोया

मैंने तो वोह खोया हे..
जो शायद कभी मेरा न था..
पर उसने तो वोह खो दिया..
जो सिर्फ उसका ही था

Saturday, August 29, 2015

खेल मोहब्बत का

अजीब खेल है ये मोहब्बत का,
किसी को हम न मिले, कोई हमें ना मिला...!

ताल्लुक़

उस शख्स से बस इतना सा ताल्लुक़ है,

वो परेशां हो तो हमें नींद नहीं आती...

Thursday, August 27, 2015

अजीब दस्तूर

अजीब दस्तूर है ज़माने का..


अच्छी यादें पेनड्राइव में
और...
बुरी यादें दिल में रखते हैं...।।

विभिन्न कवियों से अगर इस पर लिखने को कहा जाता तो वो कैसे लिखते

प्रसंग है एक नवयुवती छज्जे पर बैठी है, वह उदास है, उसकी मुख मुद्रा देखकर लग रहा है कि जैसे वह छत से कूदकर आत्महत्या करने वाली है।

💐
विभिन्न कवियों से अगर इस पर लिखने को कहा जाता तो वो कैसे लिखते

🌷मैथिली शरण गुप्त 🌷
अट्टालिका पर एक रमिणी अनमनी सी है अहो
किस वेदना के भार से संतप्त हो देवी कहो?
धीरज धरो संसार में, किसके नही है दुर्दिन फिरे
हे राम! रक्षा कीजिए, अबला न भूतल पर गिरे।

🌷काका हाथरसी🌷
गोरी बैठी छत पर, कूदन को तैयार
नीचे पक्का फर्श है, भली करे करतार
भली करे करतार,न दे दे कोई धक्का
ऊपर मोटी नार, नीचे पतरे कक्का
कह काका कविराय, अरी मत आगे बढना
उधर कूदना मेरे ऊपर मत गिर पडना।

🌷श्याम नारायण पांडे 🌷
ओ घमंड मंडिनी, अखंड खंड मंडिनी
वीरता विमंडिनी, प्रचंड चंड चंडिनी
सिंहनी की ठान से, आन बान शान से
मान से, गुमान से, तुम गिरो मकान से
तुम डगर डगर गिरो, तुम नगर नगर गिरो
तुम गिरो अगर गिरो, शत्रु पर मगर गिरो।

🌷गोपाल दास नीरज🌷
हो न उदास रूपसी, तू मुस्काती जा
मौत में भी जिन्दगी के कुछ फूल खिलाती जा
जाना तो हर एक को है, एक दिन जहान से
जाते जाते मेरा, एक गीत गुनगुनाती जा..!
💐💐💐💐💐
Three more ...... 👇

सुमित्रा नंदन पन्त

स्वर्ण-सौंध के रजत शिखर पर,
चिर नूतन, चिर सुन्दर प्रतिपल,
उन्मन उन्मन, अपलक नीरव,
शशि-मुख पर कोमल कुंतल-पथ,
कसमस-कसमस चिर यौवन घात,
पल पल प्रतिपल,
चल चल करती निर्मल दृग जल,
ज्यों निर्झर के दो नीलकमल,
यह रूप चपल ज्यों धुप धवल,
अतिमौन कौन,
रूपसी बोलो,
प्रिये बोलो ना.


गोपाल प्रसाद व्यास

छत पर उदास क्यूँ बैठी है,
तू मेरे पास चली आ री,
जीवन का सुख-दुःख कट जाए,
कुछ मैं गाऊं, कुछ तू गा री,
तू जहाँ कहीं भी जाएगी,
जीवन भर कष्ट उठाएगी,
यारों के साथ रहेगी तो,
मथुरा के पेड़े खाएगी.



रामधारी सिंह दिनकर

दग्ध ह्रदय में धधक रही,
उत्पात प्रेम की ज्वाला,
हिमगिरी के उत्स निचोड़,
फोड़ पाताल, बनो विकराला,
ले ध्वन्सो के निर्माण त्रान से,
गोद भरो पृथ्वी की,
छत पर से मत गिरो,
गिरो अम्बर से वज्र सरीखी.

Wednesday, August 26, 2015

कहानी मोहब्बत की

बस इतनी सी ही कहानी थी मेरी मोहब्बतकी,

मौसम की तरह तुम बदल गए, फसल की तरह मैं बरबाद हो गया....!

Monday, August 24, 2015

हुनर पे नाज़

बड़ी बारीकी से तोडा है, उसने दिल का हर कोना...!!
सच कहुँ तो मुझे, उस के हुनर पे नाज़ होता है....!!

बेवज़ह छोड़ जाना

आओ फिर से दोहराएं अपनी कहानी,
मैं तुम्हे बेपनाह चाहूँगा और तुम मुझे बेवज़ह छोड़ जाना ।।

Sunday, August 23, 2015

दुश्मनी अँधेरे से

दोस्त "मैं दीपक हूँ,
दुश्मनी तो सिर्फ़ अँधेरे से है मेरी,
हवा तो बेवजह ही मेरे खिलाफ़ है....

Friday, August 21, 2015

अजीब तमाशा

अजीब तमाशा है मिट्टी के बने लोगों का यारो,

बेवफ़ाई करो तो रोते है और वफ़ा करो तो रुलाते है

वफ़ा

हिचकियों में वफ़ा ढूँढ रहा था..

कमबख्त गुम हो गई दो घूँट पानी से !

Thursday, August 20, 2015

हसरतें

हसरतें ज़िद्दी औलाद होती है..

और...

ज़िन्दगी मजबूर माँ...

Wednesday, August 19, 2015

मोहब्बत रिस रही है

सुराख हो गए हैं रिश्तों में इस क़दर साहिब !
मोहब्बत रिस रही है, जरा जरा कर के !!

गिरिफ्त ढीली पड़ी

उसके हाथ की गिरिफ्त ढीली पड़ी तो महसूस हुआ...
यही वो जगह है जहाँ रास्ता बदलना है...

रूह में समा जाने का हुनर

मेरी नज़र ने उसे सिर्फ़ दिल तक आने की इजाज़त दी थी..
मेरी रूह में समा जाने का हुनर उसका अपना था...

शायरियों में

कहानियाँ लिखने लगा हूँ अब मैं

शायरियों में अब तुम समाते ही नही..!!

जब बच्चे थे

झूठ बोलते थे कितना, फिर भी सच्चे थे हम
ये उन दिनों की बात है, जब बच्चे थे हम !!

दर्द की शिद्दत

ज़ख़्म दे कर ना पूछा करो, दर्द की शिद्दत,
दर्द तो दर्द होता हैं, थोड़ा क्या, ज्यादा क्या !!

Tuesday, August 18, 2015

पुराने खत

मुस्कुरा देता हूँ अक्सर देख कर पुराने खत तेरे..
तू झूठ भी कितनी सच्चाई से लिखती थी..

Monday, August 17, 2015

न उन्हें ख्याल आया

गुज़र गया आज का दिन भी पहले की तरह,

 न हमको फुर्सत मिली न उन्हें ख्याल आया…⁠⁠⁠⁠

Wednesday, August 12, 2015

तमन्नाओं

तजुर्बे को उम्र होती है,

तमन्नाओं को नहीं....!

Tuesday, August 11, 2015

मौसम की तरह तुम बदल गए

बस इतनी सी ही कहानी थी मेरी मोहब्बत की,

मौसम की तरह तुम बदल गए...

फसल की तरह मैं बरबाद हो गया!!

Monday, August 10, 2015

तलब मौत की..

तलब मौत की करना गुनाह है...ज़माने में यारो…
मरने का शौक है तो मुहब्बत क्यों नहीं करते...!

Saturday, August 8, 2015

रेत की तरह निकल जाते है

ना जाने क्यों रेत की तरह निकल जाते है हाथों से वो लोग ,
जिन्हें ज़िन्दगी समझ कर हम कभी खोना नहीं चाहते..

Friday, August 7, 2015

फिर से लिखने का..

बारिश में रख दो,
इस जिंदगी के पन्नों को.,
ताकि धुल जाए स्याही....,

ज़िन्दगी फिर से लिखने का,
मन करता है कभी- कभी.!!

शक है तुझ पर.

लेने दे मुझे तू अपने ख़्वाबों की थोडी तलाशी,

मेरी नींद चोरी हो गयी है, मुझे शक है तुझ पर...!

Sunday, August 2, 2015

इस्तेमाल किया

हर एक शख्स ने अपने अपने तरीके से इस्तेमाल किया हमें...!
और हम समझते रहे लोग हमें पसंद करते हैं...!!

Saturday, August 1, 2015

भटकने का चलन

खत्म हो गया अब उन गलियों में भटकने का चलन,

तेरे प्रोफाइल में घूम आता हूँ, जब तू याद आती है.......!

मशहूर हुए

आज वो मशहूर हुए,
जो कभी काबिल ना थे,

और मंज़िलें उनको हूई हासील,
जो दौड़ में शामिल ना थे॥

Thursday, July 23, 2015

ख्वाहिशें सूखती रही

नसीब की बारिश कुछ इस तरह होती रही मुझ पर ,
ख्वाहिशें सूखती रही और पलकें भीगती रही.... !!

Tuesday, July 21, 2015

जनाज़ा

जनाज़ा इसीलिए भारी था उस गरीब का,
क्योकि वह सारे अरमान साथ लेकर चला गया...!!

Monday, July 20, 2015

फूलों का कत्ल

गुनाह कुछ हमसे हो गए यूँ अनजाने में,

फूलों का कत्ल कर दिया, पत्थरों को मनाने में ।..

Sunday, July 19, 2015

अपने का दामन

जरा सी रंजिश पर,
ना छोड़ किसी अपने का दामन |

जिंदगी बीत जाती है,
अपनों को अपना बनाने में !!

Thursday, July 16, 2015

दिलो पर राज़

अजीब रंग में गुजरी हे जिंदगी अपनी,

दिलो पर राज़ किया और मोहब्बत को तरसे !

Monday, July 13, 2015

पानी में पानी

कितना मुश्किल है मोहब्बत की कहानी लिखना !!
जैसे पानी से पानी में पानी लिखना !!

कौन कितने पानी मे है...!!

ये और बात है की किनारे पे खडा हूँ लेकिन...!

ये भी जानता हूँ कि कौन कितने पानी में है...!!

Saturday, July 11, 2015

तेहज़ीब

बहुत चर्चे सुने थे उनकी तेहज़ीब के...,

लेकिन मेरे दिल में आ गए और इजाज़त भी ना ली.....!

Tuesday, July 7, 2015

थोड़ा और सब्र होता..

बस यही दो मसले, जिंदगीभर ना हल हुए!!!
ना नींद पूरी  ना ख्वाब मुकम्मल हुए!!!

वक़्त ने कहा.....काश थोड़ा और सब्र होता!!!
सब्र ने कहा....काश थोड़ा और वक़्त होता!!!

सुबह सुबह उठना पड़ता है कमाने के लिए साहेब...।। आराम कमाने निकलता हूँ आराम छोड़कर।।

"हुनर" सड़कों पर तमाशा करता है और "किस्मत" महलों में राज करती है!!

"शिकायते तो बहुत है तुझसे ऐ जिन्दगी,
पर चुप इसलिये हु कि, जो दिया तूने,
वो भी बहुतो को नसीब नहीं होता"

मुफ़्त में दर्द

किसी ने हमसे पूछा की दर्द की कीमत क्या हे,

हमने हंस कर कहा पता नहीं कुछ अपने है जो मुफ़्त में दे जाते...

Sunday, July 5, 2015

अक्सर दिल टूट जाते है.

ज़रूरी नहीं की कुछ तोड़ने के लिए पत्थर ही उठाओ

लहजा बदल कर बोलने से भी अक्सर दिल टूट जाते है....

Monday, June 29, 2015

बेहतर दिखने लगा है

किसी ने धूल क्या झोंकी आँखों में,

पहले से बेहतर दिखने लगा है।

Sunday, June 21, 2015

वहम

बहुत याद करता है कोई हमें दिल से
न जाने दिल से ये वहम क्यों नही जाता

Sunday, June 14, 2015

बदलने का गम

मुझे किसी के बदल जाने का गम नही है,

बस कोई था जिससे ये उम्मीद नही थी..!!

शिकायतें

वो रूठ के बोली... 
"तुम्हें सब शिकायतें मुझ ही से हैं,"
हम ने सर झुका के कह दिया..,
"मुझे सब उम्मीदें भी तो तुझ ही से हैं"..!!

अजीब चीज है

झूठ भी बड़ी अजीब चीज है,
बोलना अच्छा लगता है, सुनना बुरा !!!

तमाशा

सदियो की तरक्की का

बस इतना खुलासा है

बस्ती मे खामोशी है

व्हाटसप मे तमाशा है..

झूठ

इस दुनियाँ के हर शख्स को नफरत है "झूठ" से...

मैं परेशान हूँ ये सोचकर, कि फिर ये "झूठ" बोलता कौन है?                             

Monday, June 8, 2015

सच की तलाश में

चलो सो जाते हैं फ़िर किसी सच की तलाशमें....
सुबह फ़िर इस झूठी दुनिया का दीदार करना है....

Saturday, June 6, 2015

मोहब्बत

मत पूछो कितनी मोहब्बत है मुझे उनसे,

बारिश की बूँद भी अगर उन्हें छू ले, तो दिल में आग लग जाती है...!

घायल करने का इरादा

तुम घायल करने का इरादा रखो अगर,

कौन कमबख्त ठीक होने की ख्वाहिश रखेगा भला........!

Thursday, June 4, 2015

'उम्र' और 'ज़िन्दगी'

'उम्र' और 'ज़िन्दगी' में फर्क बस इतना...
जो तेरे बिन बीती, वो 'उम्र'....
जो तेरे साथ बीती, वो 'ज़िन्दगी'....

Tuesday, June 2, 2015

बचपन

अभी अभी कुछ गुज़रा है,
लापरवाह, धूल में दौड़ता हुआ,

ज़रा पलट कर देखुं तो,
बचपन था शायद...

Monday, June 1, 2015

दो मसले

बस यही दो मसले,
ज़िन्दगी भर ना हल हुए।
ना नींद पूरी हुई,
ना ख्वाब मुकम्मल हुए।

वक़्त ने कहा,
काश थोड़ा और सब्र होता।
सब्र ने कहा,
काश थोड़ा और वक़्त होता।

Sunday, May 31, 2015

दरवाजे पर दस्तक

जरा देखो तो ये
दरवाजे पर दस्तक किसने दी है..!!
अगर इश्क हो तो कहना
अब दिल यहाँ नही रहता..!!

Thursday, May 28, 2015

भरी दुपहरी

बचपन में भरी दुपहरी
नाप आते थे पूरा महोल्ला,

जब से डिग्रियाँ समझ में आई,
पाँव जलने लगे....

Tuesday, May 26, 2015

कैसी उम्र में मिले हों

कैसी उम्र में आ कर मिले हों हमसे,
जब हाथों की मेंहंदी बालों में लग रही है !

Monday, May 25, 2015

महफूज़ कर लीजिये

हमे लिखकर कहीं महफूज़ कर लीजिये जनाब..
आपकी याददाश्त से निकलते जा रहे हैं हम..

Saturday, May 23, 2015

ख़त कमीज में

एक ख़त कमीज में उनके नाम का क्या रखा...!!!

करीब से गुजरा हर शख्स पूछता है,
कौन सा इत्र है जनाब...!!!

Thursday, May 21, 2015

Do not get upset with people or situations.
Both are powerless without ur reaction..

दर्द किश्तों में

जो दर्द तुम किश्तों-किश्तों में दे रहे हो;

वोह आलम क्या होगा.. जब हम ब्याज़ सहित अदा करेंगे।

Sunday, May 17, 2015

Work doesn't kill

"Work does not kill a man, it is worry, irregularity and uncertainty that kill." - Visvesvaray

Saturday, May 16, 2015

Ask for it

“I have tried raising money by asking for it, and by not asking for it. I always got more by asking for it.” ~ Millard Fuller

Friday, May 15, 2015

Get to know

Sometimes
the more you
- get to -
know someone,

the more attractive
they become.

तन्हा जरूर हूँ..

अगर फुर्सत के लम्हों में मुझे याद करते हो तो अब मत करना ....

क्योंकि मैं तन्हा जरूर हूँ लेकिन फिजूल बिल्कुल नही।

घर बना लो..

पनाह मिल जाए रुह को
जिसका हाथ छूकर,

बस उसी हथेली पे घर बना लो...!

Sunday, May 3, 2015

किताबों की तरह

किताबों की तरह बहुत से अलफ़ाज़ हैं मुझ में,

और किताबों की तरह ही में खामोश रहता हूँ…!

दर्द मांगे थे.

आज उसने हमें एक और दर्द दिया तो हमें याद आया कि,
दुआओं में हमने ही तो उसके सारे दर्द मांगे थे..!!

Wednesday, April 29, 2015

मनमानियाँ

इतनी मनमानियाँ भी अच्छी नहीं होती...!
तुम सिर्फ अपने ही नहीं, मेरे भी हो...!!

Friday, April 24, 2015

मोहब्बत में बरबाद

कुछ लोग पसंद करने लगे हैं अल्फाज मेरे , मतलब मोहब्बत में बरबाद और भी हुए हैं।

Thursday, April 23, 2015

ख्वाब

बस दो ही मसले जिन्दगी भर हल न हुए,
नींद पूरी न हुई, ख्वाब मुकम्मल न हुए...!

ना तुझे ख़्याल आया…

गुज़र गया आज का दिन भी यूं ही बेवजह…
ना मुझे फुरसत मिली, ना तुझे ख़्याल आया…!!!

Wednesday, April 15, 2015

बेक़सूर

बेकसूर कोई नहीं इस ज़माने मे,
बस सबके गुनाह पता नहीं चलते ..

Tuesday, April 14, 2015

ख्वाहिशों को जेब में

ख्वाहिशों को जेब में रखकर निकला कीजिये,
जनाब; खर्चा बहुत होता है, मंजिलों को पाने में!

फुर्सत

फुर्सत मिले तो कभी बैठ कर सोचना..
तुम भी मेरे अपने हो, या सिर्फ हम ही तुम्हारे हैं..!!

शामों की तरह

तू दिन सी है और मैं रात सा,
आओं ना मिल जाये शामों की तरह..

वक़्त गुज़ार दिया

उन्होंने वक़्त समझकर
गुज़ार दिया हमको

और हम उनको ज़िन्दगी समझकर
आज भी जी रहे हैं

Thursday, April 9, 2015

Praise

Praise a Person as much as you Like, But limit your words while Criticising,
Because..Criticism is one loan that Everyone is dying to Return with Huge Interest....

Wednesday, April 1, 2015

लोग आप से तुम तक तुम से जान तक फिर जान से अनजान तक हो जाते है...

खुद से मिलने

आज खुद से मिलने का मन है । बहुत सुना है लोगो से अपने बारे में ॥

Monday, March 30, 2015

लौट आती है दुआ

लौट आती है हर बार दुआ मेरी खाली, जाने कितनी ऊँचाई पर रहता है खुदा.....

Patience

A moment of patience,
In a moment of anger,
Saves hundreds of moments of regret.

Saturday, March 28, 2015

फासले

फासले बढ़ते हैं तो गलतफहमियाँ भी बढ़ती हैं, फिर वो भी सुनाई देने लगता हैं जो कभी कहा ही नहीं.. ।

Wednesday, March 25, 2015

Like you

I don't have to agree with you to like you or respect you..

Sunday, March 15, 2015

मेरी कमी ..

तलाश कर मेरी कमी को अपने दिल मे,
दर्द हो तो समझ लेना रिश्ता अब भी बाकी है ।

Monday, March 9, 2015

गुस्सा

गुस्सा बहुत चतुर है, अकसर कमज़ोर पर ही निकलता है !!

Thursday, March 5, 2015

सिग्नल की तरह

आज सडक पर निकले
तो तेरी याद आ गई....

तूने भी इस सिग्नल की
तरह रंग बदला था ...!

मीरा दिवानी बने...

आओ ले चलें इश्क को वहाँ तक,जहाँ फिर से कोई कहानी बने,
जहाँ फिर कोई गालिब नज्म़ पढे ,फिर कोई मीरा दिवानी बने...

Wednesday, March 4, 2015

स्वाद कड़वा

बस
स्वाद में ज़रा कड़वा है.

अन्यथा
सच का कोई जवाब नहीं

Saturday, February 21, 2015

ख्वाब

बहुत अँधेरा सा है दिल के कमरे में.
सोचता हूँ कुछ ख्वाब जलाए जाए...!!

Too much thinking

Think too much and you will create a problem that was not there in the first place.

मतलब की बातें.

कुछ बातों के मतलब हैं, और कुछ मतलब की बातें...

जब से फर्क समझा, जिंदगी आसान हो गई!!

Saturday, February 14, 2015

Opinions are like watches

Opinions are like hand watches. Everyone's watch, shows different time from others. But, Everyone believes that their time is correct. That's life.Always believe in yourself. Have a nice day!!

Thursday, February 12, 2015

एक बूँद इश्क

लत ऐसी लगी है की तेरा नशा छोड़ा नही जाता,
और हकीम भी कह रहा है कि एक बूँद भी इश्क की अब जानलेवा है !

खुद पर भरोसा

खुद पर भरोसा करने का हुनर सीख लो.
सहारे कितने भी सच्चे हो एक दिन साथ छोड़ ही जाते है..

Tuesday, February 10, 2015

नया ज़ख्म

आज कोई नया ज़ख्म नहीं दिया उसने ।
पता करो यारो वो खैरयत से तो है। 

Monday, February 9, 2015

गज़ब की मोहब्बत

देख कर उसको तेरा यूँ पलट जाना,
नफरत बता रही है तूने मोहब्बत गज़ब की थी..

Sunday, February 8, 2015

चाँद से दिन

मत किया करिये दिन के उजालों की ख्वाहिशें ऐ हजूर,
ये आशिक़ों की बस्तियाँ हैं यहाँ चाँद से दिन निकलता हैं..!!!

Thursday, February 5, 2015

कसूर अपना..

कुछ इस अदा से तोड़े है ताल्लुक उसने, कि एक मुद्दत से ढूंढ़ रहा हूँ कसूर अपना.....

Sunday, February 1, 2015

Expectations

We can save many relations if we understand a simple fact that...... People's are not wrong....they are just different from our Expectations !!

मरती है रोज ख्वाइशें

सोचता हूँ एक शमशान बना लूँ दिल के अंदर,...

मरती है रोज ख्वाइशें एक एक करके.......

क़ातिल

जान जब प्यारी थी, तब दुश्मन हज़ारों थे,
अब मरने का शौक है, तो क़ातिल नहीं मिलते..!!

Tuesday, January 27, 2015

तलाश....

दुनिया तेरे वजूद की करती रही तलाश....
हमने तेरे ख़याल को दुनिया बना लिया...

Thursday, January 22, 2015

ख्वाइश

ख्वाइश बस इतनी सी है की तुम मेरे लफ़्ज़ों को समझो,
आरज़ू ये नही की लोग वाह वाह करें...

मजबूरियां

मजबूरियां ओढ़ के निकालता हूँ घर से ; वर्ना शौक तो अब भी है बारिशों में भीगने का !!

Wednesday, January 21, 2015

तलाश

कहाँ तलाश करोगे तुम मुझ जैसे एक शख्स को,
जो तुम्हारे सितम भी सहे और तुम से मोहब्बत भी करे. .....

तरक्की

गाँव में छोड़ आये जो हज़ार गज़ की बुजुर्गों कि हवेली,
वो शहर में सौ गज़ में रहने को खुद की तरक्की कहते हैं!

Thursday, January 8, 2015

लोग बदल गए है...!!!

किसी की तलाश में मत निकलो
लोग खोये नहीं बदल गए है...!!!

तेरा ख़याल

हर रोज़...
हर वक़्त...
तेरा ही ख़याल रहता है
.
.
.
.
न जाने कौनसे क़र्ज़ की EMI है तू

Tuesday, January 6, 2015

नजरों से गिरा देते हैं

हम अपने दुश्मन को भी..
बहोत मासूम सज़ा देते हैं|

नहीं उठाते उस पर हाथ..
बस..  नजरों से गिरा देते हैं |

किसी की चाहत मारेगी…

हाथ की लकीरें पढने वाले ने तो….
मेरे होश ही उड़ा दिये..!
मेरा हाथ देख कर बोला…
“तुझे मौत नहीं किसी की चाहत मारेगी…

Friday, January 2, 2015

अपने बारे में...

मेरा खुद से मिलने को जी चाहता हैं...

काफी कुछ सुना हे मैंने अपने बारे में...